Hair Care In Monsoon: मानसून में बालों के गिरने से हैं परेशान, इस समस्या से ऐसे पाएं निजात
मानसून में बालों की देखभाल के सुझाव (Tips for hair care in Monsoon)
मानसून में बालों की देखभाल करने के लिए कुछ सुझाव निम्नलिखित हैं:
बालों को सुखे रखें: मानसून में बाल आसानी से नम और गीले हो जाते हैं। नम बाल सम्पूर्ण दिन कमजोर हो सकते हैं और संक्रमित होने का खतरा बढ़ सकता है। बारिश के बाद अपने बालों को पूरी तरह सुखा लें और गीले बालों को टावल से हल्का-सा पोंछ लें।
नियमित धुलाई करें: मानसून में बालों पर भीगने से रोगों का खतरा बढ़ जाता है। इसलिए, बारिश के बाद अपने बालों को नियमित रूप से धोने का प्रयास करें। साबुन के साथ शैम्पू या कंडीशनर का उपयोग करें और ध्यान दें कि धूल, मिट्टी और विषाणुओं को अच्छी तरह से निकालें।
तेल चमकाने का उपयोग करें: अपने बालों की नमी को बनाए रखने के लिए मानसून में तेल चमकाने का उपयोग करें। नारियल तेल, जूलिप तेल और आर्गन तेल जैसे प्राकृतिक तेलों को बालों में लगाने से उन्हें मोटा, मुलायम और स्वस्थ बनाए रखा जा सकता है।
बालों की मासूमता को बचाएं: बारिश के दिनों में बालों की भीषणता और उसके परिणामस्वरूप बालों की टंगली हो सकती है। इससे बचने के लिए, आपको उबले पानी में गैर-मेटालिक कंघी या कम कस्ट के सुराही के साथ बालों को धुने की सलाह दी जाती है।
सही आहार और पोषण: स्वस्थ बालों के लिए सही आहार और पोषण महत्वपूर्ण हैं। अपने आहार में प्रोटीन, विटामिन और मिनरल युक्त आहार शामिल करें। सुंदर और स्वस्थ बालों के लिए सब्जियों, फलों, दालों, मछली, मूंगफली, खजूर, गेहूं, दही, अंडे और पर्याप्त पानी का सेवन करें।
हेयर स्पा ट्रीटमेंट: बारिश के मौसम में हेयर स्पा ट्रीटमेंट करना आपके बालों को पोषण प्रदान कर सकता है। हेयर स्पा के माध्यम से आप अपने बालों को मोटा, चमकदार और मुलायम बना सकते हैं।
बालों के लिए गर्म तेल मालिश: मानसून में गर्म तेल से बालों की मालिश करना बालों को सुखा और फ्रिजीला होने से बचा सकता है। जैतून तेल, कोकोनट तेल, भृंगराज तेल और आमला तेल आपके लिए अच्छे विकल्प हो सकते हैं।
इन सुझावों का पालन करके, आप अपने बालों को मानसून के दौरान स्वस्थ और सुंदर बना सकते हैं। यदि आपके बालों में इंफेक्शन, लोस, या अन्य समस्याएं हो रही हैं, तो एक पेशेवर चिकित्सक से सलाह लेना सर्वोत्तम होगा।
बालों में कंडीश्नर लगाकर इसे कुछ समय तक के लिए छोड़ दें।
बालों में कंडीशनर लगाने के बाद उसे कुछ समय तक छोड़ना एक अच्छा आदान हो सकता है। यह बालों को नरम, मुलायम और उन्हें हेयर मास्क की तरह आराम देता है। यदि आपके बाल बहुत सूखे और कसावटी हैं, तो आप कंडीशनर को छोड़कर नहीं रख सकते हैं। इससे आपके बालों को उनकी आवश्यक नमी और पोषण की आवश्यकता नहीं मिलेगी।
अगर आपके बाल अच्छे स्वास्थ्य में हैं और केवल थोड़ी नमी और मुलायमता की आवश्यकता है, तो आप कंडीशनर को अपने बालों पर छोड़कर 3-5 मिनट तक रख सकते हैं। इसके बाद, अच्छी तरह से धो लें और अपने बालों को पूरी तरह से सुखा लें।
हालांकि, बालों में कंडीशनर को पूरी तरह से धोने के बाद ही रखना अच्छा होता है, क्योंकि यदि आप इसे बालों में छोड़ देते हैं, तो यह बालों को तैलीय बना सकता है और बालों को भारी बना सकता है।
यदि आपके बाल तैलीय होते हैं या धूल-मिट्टी आदि के कारण आपके बाल जल्दी गंदे हो जाते हैं, तो आपको कंडीशनर को पूरी तरह से धोने की सलाह दी जाती है। इससे आपके बालों को अच्छी तरह से साफ़ किया जाएगा और आपके बालों की ताजगी बनी रहेगी।
बाल अगर रूखे हैं, तो क्रीम बेस्ड शैम्पू और कंडीश्नर का इस्तेमाल करें।
यदि आपके बाल रूखे हैं, तो क्रीम बेस्ड शैम्पू और कंडीशनर का उपयोग आपके लिए उपयुक्त हो सकता है। क्रीम बेस्ड शैम्पू और कंडीशनर में मोइस्चराइजिंग और हाइड्रेटिंग तत्व होते हैं, जो बालों को नमी और पोषण प्रदान करते हैं और रूखेपन से निजात दिलाते हैं।
इन उत्पादों में नारियल तेल, आलोवेरा जेल, सिल्क प्रोटीन और हाइड्रोलाइज्ड केरेटिन जैसे सामग्री होती हैं, जो बालों को मोटा, मुलायम और ताजगी देती हैं। इन प्रोडक्ट्स को बालों पर लगाएं और 3-5 मिनट तक मसाज करें, फिर उन्हें धो दें।
इसके अलावा, आप बालों की देखभाल के लिए निम्नलिखित तरीकों का भी पालन कर सकते हैं:
नहाने से पहले बालों में तेल मालिश करें: नहाने से पहले थोड़ी सी तेल (जैतून तेल, नारियल तेल आदि) से अपने बालों की मालिश करने से उन्हें पोषण मिलता है और रूखेपन कम होता है। तेल को बालों में 30 मिनट तक रखें और फिर शैम्पू करके धो लें।
गर्म तेल की पैक: हफ्ते में एक बार गर्म तेल (जैतून तेल, नारियल तेल आदि) की पैक बनाएं और इसे बालों में लगाकर आधे घंटे तक रखें। फिर उन्हें शैम्पू करके धो लें।
पर्याप्त पानी पिएं: अपने शरीर को उचित पोषण देने के लिए पर्याप्त मात्रा में पानी पिएं। यह बालों के लिए भी महत्वपूर्ण है, क्योंकि यदि आप अपने शरीर को पर्याप्त पानी नहीं देते हैं, तो बाल भी सूखे और रूखे हो सकते हैं।
बालों को अधिक से अधिक सूखने से बचाएं: गर्म उपयोगाधिकार का इस्तेमाल जैसे की हैयर ड्रायर, स्ट्रेटनर या कर्लिंग आयरन आदि कम करें, क्योंकि इन्हें बालों को और अधिक रूखा बना सकता है।
यदि आपके बाल अधिक मात्रा में रूखे हैं और यह समस्या लंबे समय से हो रही है, तो एक पेशेवर चिकित्सक या ट्रिचोलॉजिस्ट से सलाह लेना उचित होगा। वे आपके बालों की विशेष जांच करेंगे और आपको उचित उपचार सुझाएंगे।
डैंड्रफ से निपटना है, तो एंटी डैंड्रफ शैम्पू का इस्तेमाल करें।
डैंड्रफ से निपटने के लिए एंटी-डैंड्रफ शैम्पू का उपयोग आपके लिए उपयुक्त हो सकता है। एंटी-डैंड्रफ शैम्पू में विशेष तत्व होते हैं जो डैंड्रफ को कम करने और स्कैल्प को स्वस्थ रखने में मदद करते हैं। इसे निम्नलिखित तरीके से उपयोग करें:
शैम्पू करने से पहले बालों को अच्छी तरह से गिला बनाएं।
एंटी-डैंड्रफ शैम्पू को धीरे-धीरे स्कैल्प पर लगाएं और उसे अच्छी तरह से मालिश करें।
शैम्पू को 2-3 मिनट तक स्कैल्प पर छोड़ दें ताकि उसमें मौजूद तत्व स्कैल्प पर अच्छी तरह से काम कर सकें।
शैम्पू को अच्छी तरह से धो लें और फिर साफ़ पानी से बाल धो लें।
शैम्पू का उपयोग हफ्ते में दो-तीन बार करें या जैसा उत्पाद निर्देशित करता है।
ध्यान दें कि एंटी-डैंड्रफ शैम्पू के उपयोग से पहले आपको इसे अच्छी तरह से शेक करके देखना चाहिए और यदि आपके बालों या स्कैल्प पर किसी प्रकार की अवरुद्धता, खुजली या तकलीफ होती है, तो आपको इसका इस्तेमाल बंद करना चाहिए और एक विशेषज्ञ सलाह लेनी चाहिए।
इसके अलावा, कुछ और टिप्स जो डैंड्रफ से निपटने में मदद कर सकते हैं:
स्कैल्प को स्वच्छ रखें: नियमित रूप से अपने बालों को धोने के साथ ही स्कैल्प को स्वच्छ रखें। इससे डैंड्रफ और इंफेक्शन के खतरे कम होते हैं।
धूप में समय बिताएं: सूर्य की किरणों का संपर्क डैंड्रफ के लिए लाभदायक हो सकता है। धूप में समय बिताने से डैंड्रफ समस्या में सुधार हो सकता है।
स्कैल्प को मसाज करें: नियमित रूप से स्कैल्प को नरमी से मसाज करने से सिर के रक्त संचार में सुधार होता है और डैंड्रफ की समस्या कम हो सकती है।
यदि आपकी डैंड्रफ समस्या लंबे समय से बनी रहती है और इसे शैम्पू या उपयोग के बावजूद नियंत्रित नहीं कर पा रहे हैं, तो एक डर्माटोलॉजिस्ट या चिकित्सक से मार्गदर्शन लेना सर्वोत्तम होगा। वे आपकी स्थिति का मूल्यांकन करेंगे और उचित उपचार का सुझाव देंगे।